milap singh

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Wednesday, 15 October 2014

बेरोजगारी में


बेरोजगारी में राह चलते हुए
जब पडौसी मुस्कुराकर पूछता है

अभी काम नहीं बना कहीं पर बेटा
तो शर्म का दरिया सा मन में कूदता है

कामयाबी की तो कोई भी चर्चा
नहीं करता है इस जहाँ में लेकिन

नाकामयाबी में तो दोस्त हर कोई
यहाँ पर तरह तरह से मजे लूटता है

-------- मिलाप सिंह भरमौरी

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