milap singh

milap singh

Monday 30 June 2014

Nashe ki lat

नशे की लत
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जितने भी फंसे इस नशे की लत में
वो तन मन धन सब खो बैठे

कुछ ने मांगी भीख यहां पर
कुछ जुर्म की दुनिया के हो बैठे

कुछ अकेले के अकेले रह गए
सब रिश्ते नातों से हाथ धो बैठे

कुछ खुदकुशी भी यहां करते देखे
कुछ दुर्घटना में मौत की नींद सो बैठे

कुछ एनकाउंटर में मारे गए और
कुछ सलाखों के पीछे के हो बैठे

जितने भी फंसे इस नशे की लत में
वो तन मन धन सब खो बैठे

----------- मिलाप सिंह भरमौरी

                 

कुदरत का तंत्र

Hindi shayari

जब  मौसम ने  चलाया वर्षा  यंत्र ।   
सब गर्मी हो  गई पल में छू -मंतर ।।
लोग यूंही सहनशीलता खो देते हैं ।
कभी रुका है क्या कुदरत का तंत्र ।।

  --------- मिलाप सिंह भरमौरी

Sunday 29 June 2014

डान

इक गलती की
जेल गया
नेता ने छुडाया
एहसान कर दिया
फैंके टुकडों पर दंगे किए
धीरे धीरे डोन बन गया

फैलाया खूब आक्रोश
थी पोलिटिकल सपोर्ट
जब कोई न हुई राजी
जबरन करनी चाही शादी
नशा आहार नशा पेय
हर कुछ उसका नशा बन गया

अपनो से झगडा
ओरो से झगडा
अंदर झगडा बाहर झगडा
मारमारपीट
उसका धर्म बन गया

आखिर
ऐसा आलम कब तक चलता
सुना है
कुछ दिन पहले वो
जहर खा कर मर गया

-------- मिलाप सिंह भरमौरी

बलात्कार

Hindi shayari

हावी हो रही है पश्चिमी संस्कृति ।    

और खो रहे है भारतीय संस्कार ।।     

यकीन नहीं है तो सुन लो खबरें ।     
  
हो रहे यहां कितने ही बलात्कार ।।    

     ------ मिलाप सिंह भरमौरी

Friday 27 June 2014

भारत को सम्पन्न बनाना है

Hindi shayari
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भारत  को   सम्पन्न   बनाना  है ।
रुपये को डॉलर तक पहुंचाना है ।।     
कम नहीं है किसी  से  भारतीय । 
यह  दुनिया  को    दिखलाना है ।।

----- मिलाप सिंह भरमौरी

तस्वीर

Hindi shayari
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मैं जिंदगी की तावीर बना जाऊंगा

मौहब्बत की जागीर बना जाऊंगा

तुम बस देखती रह जाओगे जिसे

मैं इक ऐसी तस्वीर  बना जाऊंगा       

     ------ मिलाप सिंह भरमौरी

  

तेरा स्वाभिमान

हम बंजर में भी फसल उगा लेंगे
सारी दुनिया को फिर चौंका देंगे

गर बादल नहीं अम्बर में तो क्या
हम अपना खून पसीना बहा देंगे

मेरे देश से बढकर  कुछ भी नहीं
हम सर्वस्व ही  अपना लुटा देंगे

मां प्राण रहे या न रहे इस तन में
पर तेर स्वाभिमान हम लौटा देंगे

  ------- मिलाप सिंह भरमौरी

Wednesday 25 June 2014

Sbabhimaan

Hindi shayari

डॉलर ने है किया बहुत
रुपये का अपमान

आजादी से पहले की स्थिति से
है कोई नहीं अनजान

बात यह भी नहीं है कि
कारण क्या रहे होंगे

बात सिर्फ यह है कि
कब लौटेगा फिर से स्वाभिमान

------- मिलाप सिंह भरमौरी

Apna sikka

Hindi shayari

भगवान ! वो दिन कब आएगा

कि जब अपना  सिक्का छाएगा

डॉलर घुटने टेकेगा सामने और

हमारा  रुपया  आंख दिखाएगा      
 

------- मिलाप सिंह भरमौरी

तेरे रखबाले

Hindi shayari
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सदा शान से तिरंगा लहराएगा    
खुद मिट जाऐंगे इसे मिटाने वाले
खून कतरा कतरा है अर्पण तुझको
फौलाद का सीना रखते हैं तेरे रखबाले       

-------- मिलाप सिंह भरमौरी

Tuesday 24 June 2014

नई सुबह

Hindi shayari
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खत्म हो गई रात
सुबह आ गई है     

सूरज की लाली
नभ पर छा गई है      

खग पखेरू ने देखो
छोड दिए हैं नीड      

नई सुबह की स्फूर्ति
तन तन पर छा गई है

---- मिलाप सिंह भरमौरी

पंछी उडे उडान है

Hindi shayari

पंछी  उडे  उडान  है ,  मछली  जल  में  होय। 
जिसने जैसा जन्म लिया, वैसी फितरत होय।।

               -------- मिलाप सिंह भरमौरी

फितरत--- स्वभाव     

Monday 23 June 2014

Bhart desh mahan

भारत ने ही तो बांटा है
सब दुनिया को ज्ञान    

यूंही नहीं कहते इसे सब
भारत देश महान

जब छंद में लिख रहे थे हम
वो साहित्य से थे अंजान

हमारे वेद अनूठे हैं
है अनमोल बहुत ही पुराण

दर्शन की तो बात ही क्या
था उत्कृष्ठ बडा ही विज्ञान    
   
मिलजुल कर रहना इक दूजे से    
है पुरातन हमारी पहचान

वरना देख लो दूजे देशों को
ले रहे हम मजहब के प्राण

----- मिलाप सिंह भरमौरी

भारत देश महान

Hindi shayari                        

एक ही घर में रहते हैं , गीता ग्रंथ कुराण ।
यूंही नहीं कहते इसे,  भारत देश महान ।।

           -------- मिलाप सिंह भरमौरी     

Sunday 22 June 2014

Ped lgaya jisne

हिंदी शायरी ( दोहा )     

पेड उगाय जिसने भी, भला करे भगवान ।
मन में कितना सुख भरे, इनकी ठंडी छांव ।।

    ------- मिलाप सिंह भरमौरी